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Teddy Bear (Hindi)

Satyaranjan Bhattacharya

Rs. 150

टेडी बेयर में दकियानूसी समाज में व्याप्त अव्यवहारिकता, अन्याय एवं महिलाओं के प्रति व्यक्त की जाने वाली दैनिक असंवेदनशीलता के कई आयामों को बड़े ही तार्किक, वास्तविक तथा जीवंत तरीके से उदाहरण सहित प्रस्तुत किया गया है अपनी व्यथा की मुखर अभिव्यक्ति कर पाने में अक्षम, वह तमाम मानसिक एवं... Read More

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टेडी बेयर में दकियानूसी समाज में व्याप्त अव्यवहारिकता, अन्याय एवं महिलाओं के प्रति व्यक्त की जाने वाली दैनिक असंवेदनशीलता के कई आयामों को बड़े ही तार्किक, वास्तविक तथा जीवंत तरीके से उदाहरण सहित प्रस्तुत किया गया है अपनी व्यथा की मुखर अभिव्यक्ति कर पाने में अक्षम, वह तमाम मानसिक एवं भावनात्मक प्रताड़नाओं को निरंतर सहती और आत्मसात करती रहती है I इस पुस्तक के माध्यम से महिलाओं पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभावों को उनके निराकरण के साथ सविस्तार रखा गया है, जिससे वे विपरीत परिस्तिथियों से मुकाबला कर सशक्त बन सकें I लेखक ने सरल एवं सहज भाषा में जनसामान्य तक अपनी बात पहुँचाने का प्रयास किया है I 'नारी सशक्तिकरण' को समर्पित टेडी बेयर एक अनुपम करती है जिसके द्वारा महिलाएँ आत्ममंथन करते हुए मुखरित होकर अपना प्रतिरोध अपना प्रतिरोध दर्ज करा सकती हैं I आज की परिस्तिथि में नारी स्वयं के अस्तित्व को एक नै पहचान देते हुए 'टेडी बेयर' बनकर घुटते रहने के बजाय स्वयं को एक सशक्त नारी के रूप में स्थापित कर सकती हैं Iयह पुस्तक हर आयुवर्ग के लिए पठनीय हैं जो उनके व्यक्तिगत जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने में निश्चित रूप से सफल होगी I
Description
टेडी बेयर में दकियानूसी समाज में व्याप्त अव्यवहारिकता, अन्याय एवं महिलाओं के प्रति व्यक्त की जाने वाली दैनिक असंवेदनशीलता के कई आयामों को बड़े ही तार्किक, वास्तविक तथा जीवंत तरीके से उदाहरण सहित प्रस्तुत किया गया है अपनी व्यथा की मुखर अभिव्यक्ति कर पाने में अक्षम, वह तमाम मानसिक एवं भावनात्मक प्रताड़नाओं को निरंतर सहती और आत्मसात करती रहती है I इस पुस्तक के माध्यम से महिलाओं पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभावों को उनके निराकरण के साथ सविस्तार रखा गया है, जिससे वे विपरीत परिस्तिथियों से मुकाबला कर सशक्त बन सकें I लेखक ने सरल एवं सहज भाषा में जनसामान्य तक अपनी बात पहुँचाने का प्रयास किया है I 'नारी सशक्तिकरण' को समर्पित टेडी बेयर एक अनुपम करती है जिसके द्वारा महिलाएँ आत्ममंथन करते हुए मुखरित होकर अपना प्रतिरोध अपना प्रतिरोध दर्ज करा सकती हैं I आज की परिस्तिथि में नारी स्वयं के अस्तित्व को एक नै पहचान देते हुए 'टेडी बेयर' बनकर घुटते रहने के बजाय स्वयं को एक सशक्त नारी के रूप में स्थापित कर सकती हैं Iयह पुस्तक हर आयुवर्ग के लिए पठनीय हैं जो उनके व्यक्तिगत जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने में निश्चित रूप से सफल होगी I

Additional Information
Book Type

Paperback

Publisher
Language
ISBN 9788193182345
Pages
Publishing Year

Teddy Bear (Hindi)

टेडी बेयर में दकियानूसी समाज में व्याप्त अव्यवहारिकता, अन्याय एवं महिलाओं के प्रति व्यक्त की जाने वाली दैनिक असंवेदनशीलता के कई आयामों को बड़े ही तार्किक, वास्तविक तथा जीवंत तरीके से उदाहरण सहित प्रस्तुत किया गया है अपनी व्यथा की मुखर अभिव्यक्ति कर पाने में अक्षम, वह तमाम मानसिक एवं भावनात्मक प्रताड़नाओं को निरंतर सहती और आत्मसात करती रहती है I इस पुस्तक के माध्यम से महिलाओं पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभावों को उनके निराकरण के साथ सविस्तार रखा गया है, जिससे वे विपरीत परिस्तिथियों से मुकाबला कर सशक्त बन सकें I लेखक ने सरल एवं सहज भाषा में जनसामान्य तक अपनी बात पहुँचाने का प्रयास किया है I 'नारी सशक्तिकरण' को समर्पित टेडी बेयर एक अनुपम करती है जिसके द्वारा महिलाएँ आत्ममंथन करते हुए मुखरित होकर अपना प्रतिरोध अपना प्रतिरोध दर्ज करा सकती हैं I आज की परिस्तिथि में नारी स्वयं के अस्तित्व को एक नै पहचान देते हुए 'टेडी बेयर' बनकर घुटते रहने के बजाय स्वयं को एक सशक्त नारी के रूप में स्थापित कर सकती हैं Iयह पुस्तक हर आयुवर्ग के लिए पठनीय हैं जो उनके व्यक्तिगत जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने में निश्चित रूप से सफल होगी I