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BALZAC

STEFAN ZWEIG TRANS. BY RANJANA SHRIVASTAV

Rs. 550

About the Book:यह पुस्तक अपने समय कइ सम्पूर्ण तस्वीर कइ तरह उभर के सामने आयी जो हर युग के लिए मान्य है। पुस्तक में स्वाभिमान और आक्रोश का भाव रचा-बसा है, और है एक आह्यान-कि अधीरता से, लोलुपता से दूर रहो, दृढ़ बने रहो और बार-बार प्रतिरोध करके अधिक से... Read More

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About the Book:
यह पुस्तक अपने समय कइ सम्पूर्ण तस्वीर कइ तरह उभर के सामने आयी जो हर युग के लिए मान्य है। पुस्तक में स्वाभिमान और आक्रोश का भाव रचा-बसा है, और है एक आह्यान-कि अधीरता से, लोलुपता से दूर रहो, दृढ़ बने रहो और बार-बार प्रतिरोध करके अधिक से अधिक शक्तिमान बनो।

About the Author:
स्टैफ़न स्वाइग का जन्म (नवम्बर 1881) वियना के एक यहूदी परिवार में हुआ। 1920 और 1930 के दशक में ये विश्व के उन लेखकों में एक थे, जिन्हे व्यापक तौर से प्रसिद्धि मिली। इनकी रचनाओं का विभिन्न भाषाओं में अनुवाद हुआ।
Description

About the Book:
यह पुस्तक अपने समय कइ सम्पूर्ण तस्वीर कइ तरह उभर के सामने आयी जो हर युग के लिए मान्य है। पुस्तक में स्वाभिमान और आक्रोश का भाव रचा-बसा है, और है एक आह्यान-कि अधीरता से, लोलुपता से दूर रहो, दृढ़ बने रहो और बार-बार प्रतिरोध करके अधिक से अधिक शक्तिमान बनो।

About the Author:
स्टैफ़न स्वाइग का जन्म (नवम्बर 1881) वियना के एक यहूदी परिवार में हुआ। 1920 और 1930 के दशक में ये विश्व के उन लेखकों में एक थे, जिन्हे व्यापक तौर से प्रसिद्धि मिली। इनकी रचनाओं का विभिन्न भाषाओं में अनुवाद हुआ।

Additional Information
Title

Default title

Publisher Setu Prakashan Pvt. Ltd.
Language Hindi
ISBN 9789395160728
Pages 368
Publishing Year 2023

BALZAC

About the Book:
यह पुस्तक अपने समय कइ सम्पूर्ण तस्वीर कइ तरह उभर के सामने आयी जो हर युग के लिए मान्य है। पुस्तक में स्वाभिमान और आक्रोश का भाव रचा-बसा है, और है एक आह्यान-कि अधीरता से, लोलुपता से दूर रहो, दृढ़ बने रहो और बार-बार प्रतिरोध करके अधिक से अधिक शक्तिमान बनो।

About the Author:
स्टैफ़न स्वाइग का जन्म (नवम्बर 1881) वियना के एक यहूदी परिवार में हुआ। 1920 और 1930 के दशक में ये विश्व के उन लेखकों में एक थे, जिन्हे व्यापक तौर से प्रसिद्धि मिली। इनकी रचनाओं का विभिन्न भाषाओं में अनुवाद हुआ।