Bhoole- BisareKrantikari
Item Weight | 382 Grams |
ISBN | 978-8177213768 |
Author | Smt. Mradulatar , Dr. Shyam Singh Tanwar |
Language | Hindi |
Publisher | Prabhat Prakashan |
Book Type | Hardbound |
Publishing year | 2018 |
Edition | 1st |
Return Policy | 5 days Return and Exchange |

Bhoole- BisareKrantikari
इस कसौटी पर 21वीं सदी के दूसरे दशक में पहला यक्षप्रश्न यह है— गांधी के स्वराज को सुराज बनाना है, भारत को महान् बनाकर इतिहास लिखना है, मानसिकता बदलनी है, सेक्युलर भारत को वैदिक भारत बनाना है?सन् 1962 के चीन-भारत युद्ध में हुए शहीदों की दासता तो अभी भी हेंडरसन रिपोर्ट के अंदर ठंडे बस्ते में बंद पड़ी है, उन्हीं शहीदों की व्यथा-गाथा का एक प्रामाणिक तथ्य सन् 1962 के युद्ध के 48 साल बाद 2010 में उजागर होकर हमारे स्वतंत्र भारत के शासन व सा पर एक प्रश्नचिह्न लगा दिया। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि अपनी व्यवस्थागत सात्मक प्रणाली देशभतों और शहीदों के क्रियाकलापों से कितनी अनभिज्ञ तथा उनके बलिदान के प्रति कितनी उदासीन एवं निष्क्रिय है। वस्तुत: इस पुस्तक के संकलन करने में यही मुय बिंदु है कि जिनको जो देय है, उचित है, उनको दिया जाए। इसी उद्देश्य को ध्यान में रखकर लेखकद्वय ने दो वर्षों तक शोधकार्य कर इस पुस्तक का संयोजन किया। अत: आशा है कि आखिर कोई तो है, जो इन हुतात्माओं को राष्ट्रीय स्तर पर मान-सम्मान देकर इनकी धूमिल छवि को राष्ट्रीय स्तर पर उजागर करेगा। अतीत के गहरे नेपथ्य में सायास धकेल दिए गए माँ भारती के वीर सपूतों, राष्ट्राभिमानी देशभतों, हुतात्माओं, बलिदानियों का पुण्यस्मरण है यह पुस्तक।________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________________अनुक्रम1. असमी शहीद — Pgs. 15-51(1) मनीराम दीवान, (2) सूर्यसेन-चिंटगाँव का स्वतंत्रता सेनानी, (3) असम के कतिपय स्वतंत्रता सेनानी (शीभम)—शहीद थागी सूत, शहीद हेमाराम पातर, शहीद भोगेश्वरी फूकनानी, शहीद बालू सूत, शहीद लाक्षी हजारिका, शहीद निधानू राजबोंगशी, शहीद कमला मिरी, शहीद तिलक डेका, शहीद गुलाभीराम बार्दलोई, शहीद हेमराम बोरा, शहीद कलाई कोच, (4) गोलाघाट के शहीद, (5) असमी वीरांगनाएँ—पुष्पलता दास, सतीश चंद्र काकाती, लक्ष्याधर चौधरी, भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में असमी महिलाएँ, असमी महिलाओं का भारतीय स्वतंत्रता संघर्ष में योगदान, असम के अनजाने अज्ञात 'नायक'—कुशाल कोंवर, हैपु जडोनांग, रानी गाइडिन्ल्यु, शांतिपदा रॉय, सुभाषचंद्र पॉल, (6) प्रमुख स्वतंत्रता सेनानी—वासुदेव बलवंत फड़के, कन्हाईलाल दत्ता, अशफाक उल्ला खान, पंडित काशीराम, अनंत लक्ष्मण कान्हरे, कृष्णाजी गोपाल करवे, विनायक नारायण देशपांडे, मन्मथ नाथ गुप्ता, भगतसिंह, शिवराम हरि राजगुरु, सुखदेव थापर, रामप्रसाद बिस्मिल, मदनलाल ढींगरा, श्यामजी कृष्णा वर्मा भंसाली, भगवती चरण बोहरा, दुर्गादेवी, बटुकेश्वर दत्त, बैकुंठ शुक्ल, हरि कृष्ण तलवार, मौलवी अब्दुल हाफिज मोहम्मद बरकतुल्ला, क्रांति कुमार, अल्लूरी सीताराम राजू, मास्टर अमीरचंद, अवध बिहारी, बसंत कुमार विश्वास, बख्शीश सिंह, अरुण सिंह, दुर्गा माला, हरिगोपाल बाल, भाई बालमुकुंद, सेनापति टिकेंद्राजीत सिंह, थांगल जनरल (लुंगथोबू थांगल), दामोदर हरि चापेकर, खुदीराम बोस, बलवंत सिंह, चारू चरण बोस, प्रफुल्ल चाकी उर्फ दिनेष चंद्र रॉय, मेवा सिंह, बिनोय कृष्ण बोस या बिनोय बोस, शिव वर्मा, सत्येंद्रचंद्र वर्धन, मलप्पा धनशैट्टी, श्रीकिशन लक्ष्मीनारायण सारडा, अब्दुल रसूल, कुरबान हुसैन और जगन्नाथ भगवानशिंदे, दिनेश चंद्र गुप्ता, राजेंद्र लहरी, ठाकुर रोशन सिंह, गया प्रसाद कटियार, सेवासिंह ठिकरीवाला, जयदेव कपूर, महावीर सिंह, सुशीला दीदी, सुखदेव राज, पंडित किशोरीलाल उर्फ किशोरी लाल रत्तन, कुंदनलाल गुप्ता, कमलनाथ तिवारी, प्रेम दत्त, बिजोय कुमार सिन्हा, शाम सिंह अटारीवाला, दीवान मूलराज, सरदार अजीत सिंह, निहालसिंह उर्फ भाई महाराजा सिंह, हेमु कालानी, राम रक्खा, सोहनलाल पाठक, अनंत हरि मित्रा, प्रमोद रंजन चौधरी, सत्येंद्र नाथ बसू, विष्णु गणेश पिंगले, करतार सिंह सराभा, जगतसिंह उर्फ जयसिंह, बाबू गेनू सैद, बाजी राउत, डॉ. मथुरा सिंह, बिरेंद्र नाथ दत्ता गुप्ता, गोपीनाथ साहा, भान सिंह2. सेल्युलर जेल के राष्ट्रभक्त — Pgs. 52-61(1) 1909-1921 के मध्य (कुल 148 राष्ट्रभक्त), (2) 1922-1931 के मध्य (कुल 30 राष्ट्रभक्त), (3) 1932-1938 के मध्य (कुल 386 राष्ट्रभक्त)3. विभिन्न राज्यों के राष्ट्रभक्त — Pgs. 62-70(1) उत्तर प्रदेश के देशभक्त (कुल 20 राष्ट्रभक्त), (2) महाराष्ट्र के देशभक्त (कुल 3 राष्ट्रभक्त), (3) पंजाब के देशभक्त (कुल 22 राष्ट्रभक्त), (4) आंध्र प्रदेश के देशभक्त (कुल 1 राष्ट्रभक्त), (5) बिहार के देशभक्त (कुल 17 राष्ट्रभक्त), (6) बंगाल के देशभक्त (कुल 174 राष्ट्रभक्त), (7) झारखंड का देशभक्त—बिरसा मुंडा, (8) गोरखा देशभक्त—(कुल 77 राष्ट्रभक्त)4. सेल्युलर जेल के भूख-हड़ताली (कुल 93 राष्ट्रभक्त) — Pgs. 71-955. पंजाब के शहीद — Pgs. 96-149(1) हिंदुस्तान सोशलिस्ट रिपब्लिकन एसोसिएशन (एच.एस.आर.ए.), (2) मोघा मोर्चा, (3) बज-बज, (4) नवजीवन भारत सभा, (5) कीर्ति किसान सभा, (6) अनारकली मर्डर केस, 20 फरवरी 1915, (7) लाहौर षड्यंत्र केस, (8) पूरक लाहौर षड्यंत्र केस, (9) द्वितीय लाहौर षड्यंत्र केस, (10) द्वितीय पूरक लाहौर षड्यंत्र केस, (11) मंडी षड्यंत्र केस, (12) पादरी मर्डर केस, (13) वाला ब्रिज केस, (14) हार्डिंग्स बम केस, (15) बब्बर अ��ा��ी केस, (16) मलेरकोटला केस6. भूले-बिसरे गांधीवादी शहीद — Pgs. 150-153(1) चौरा-चौरी कांड : अब्दुल्ला उपनाम सुखोई, भगवान, बिसराम, दुधाई, कालीचरण, लाल मोहम्मद, लालतु, महादेव, मेघु, नजीर अबु, रघुवीर, रामलगन, रामरूप, रुदाली, सहदेव, संपत-प्रथम, संपत-द्वितीय, श्यामसुंदर, सीताराम, (2) असहयोग आंदोलन : चौधरी प्रमोद रंजन, सेन सूर्य उपनाम मास्टर दा, आजाद चंद्रशेखर, (3) सविनय अवज्ञा आंदोलन : धनशैट्टी, मल्लप्पा, हज्रा (श्रीमती) मातंगिनी, हरि कृष्ण, शहीद बाबू गेनू, (4) 'भारत छोड़ो' आंदोलन : शंकर महाली, राजनारायण मिश्र, कालानी हेमू, शिरीश कुमार, नारायण राजू7. काकोरी रेल डकैती केस — Pgs. 154-172(1) श्री रामप्रसाद 'बिस्मिल', (2) श्री अशफाक उल्ला खाँ, (3) ठाकुर रोशन सिंह, (4) राजिंदर लाहिड़ी, (5) मन्मथ नाथ गुप्ता, (6) शहीद भगतसिंह, (7) शहीद सुखदेव, (8) शिवराम हरि राजगुरु, (9) चंद्रशेखर आजाद8. इतिहास बनाने वाले शहीद — Pgs. 173-233(1) लोकमान्य बाल गंगाधर तिलक, (2) बिपिनचंद्र पाल, (3) लाला लाजपत राय, (4) चापेकर बंधु, (5) श्यामजी कृष्ण वर्मा, (6) गणेश बाबाराव सावरकर, (7) खुदीराम बोस, (8) गणेश शंकर विद्यार्थी, (9) स्वामी श्रद्धानंद, (10) शचींद्रनाथ सान्याल, (11) अनंत लक्ष्मण कान्हड़े, (12) वलिनयागम ऑलगनाथन चिदंबरम पिल्लई, (13) अरविंद घोष, (14) गोपाल गोड्से9. लंदन में प्रतिशोध की रक्ताजंलि — Pgs. 234-264(1) मदनलाल ढींगरा, (2) श्रद्धेय उधमसिंह10. विदेशों में आजादी की अलख जगाने वाले राष्ट्रभक्त — Pgs. 265-387(1) विनायक दामोदर सावरकर—आलोचना केवल आलोचना के लिए— (अ) सावरकर की याचिकाओं पर अड़ंगा (ब) आलोचकों का मुँह बंद, (स) सावरकर की फोटो पर अड़ंगा, (द) सावरकर के भारत-रत्न सम्मान पर अड़ंगा, (य) बैरिस्टर सावरकर का बैल रूपी अवतार, (2) तारकनाथ दास, (3) अजीत सिंह, (4) विरेंद्रनाथ चट्टोपाध्याय, (5) चंपक रमन पिल्लई, (6) श्रीमती भीखाजी रुस्तम कामा (मैडम कामा), (7) बाघा जतिन, (8) रासबिहारी बोस, (9) लाला हरदयाल, (10) एस.आर. राणा
- Sabr– Your order is usually dispatched within 24 hours of placing the order.
- Raftaar– We offer express delivery, typically arriving in 2-5 days. Please keep your phone reachable.
- Sukoon– Easy returns and replacements within 5 days.
- Dastoor– COD and shipping charges may apply to certain items.
Use code FIRSTORDER to get 5% off your first order.
You can also Earn up to 10% Cashback with POP Coins and redeem it in your future orders.