Lakhima Ki Aankhen
Regular price
₹ 113
Sale price
₹ 113
Regular price
₹ 125
Unit price
Save 9%
Tax included.
Author | Rangeya Raghav |
Language | Hindi |
Publisher | Nayee Kitab Prakashan |
Pages | 104 |
ISBN | 978-93-92380-81-5 |
Book Type | Paperback |
Item Weight | 0.4 kg |
Dimensions | 28*15*4 |
Edition | 1st |
Lakhima Ki Aankhen
Product description
Shipping & Return
Offers & Coupons
जन्म : 17 जनवरी, 1923 को आगरा में जन्म । मूल नाम टी. एन. वी. आचार्य (तिरुमल्लै नम्बाकम् वीर राघव आचार्य) । कुल से दाक्षिणात्य । ढाई शतक से पूर्वज वैर (भरतपुर) के निवासी और वैर, बारोनी गांवों के जागीरदार । घर की बोली ब्रज और तमिल थी । शिक्षा : आगरा में । सेंट जॉन्स कॉलेज से 1944 में स्नातकोत्तर और 1948 में आगरा विश्वविद्यालय से गुरु गोरखनाथ पर पीएच. डी. । हिंदी, अंग्रेजी, ब्रज और संस्कृत पर उनका असाधारण अधिकार था । 13 वर्ष की आयु में लिखना शुरू किया । 23–24 वर्ष की आयु में ही अभूतपूर्व चर्चा के विषय बने । 1942 में अकालग्रस्त बंगाल की यात्रा के बाद उनका लिखा रिपोर्ताज ‘तूफानों के बीच’ हिंदी में चर्चा का विषय बना । हिन्दी में रिपोर्ताज विधा के विकास में रांगेय राघव का महत्वपूर्ण योगदान है । साहित्य के अतिरिक्त चित्रकला, संगीत और पुराततत्त्व में उनकी विशेष रुचि थी । साहित्य की प्राय: सभी विधाओं में सिद्धहस्त थे । मात्र 39 वर्ष की आयु में साहित्य को कविता, कहानी, उपन्यास, नाटक, रिपोर्ताज के अतिरिक्त आलोचना, सभ्यता और संस्कृति पर शोध संबंधी 150 से भी अधिक पुस्तकों से समृद्ध करने वाले वे अप्रतिम रचनाकार थे । अनुवाद : रांगेय राघव ने संस्कृत रचनाओं का हिंदी, अंग्रेजी में अनुवाद किया और भारतीय और विदेशी साहित्य का हिन्दी में अनुवाद किया । उन्होंने देशी–विदेशी साहित्य का पुनर्लेखन भी किया । उनकी अनेक कृतियाँ अन्य भारतीय और विदेशी भाषाओं में अनूदित और प्रशंसित हैं । 7 मई, 1956 को उनका विवाह सुलोचना जी के साथ हुआ । 8 फरवरी, 1960 को पुत्री सीमन्तिनी का जन्म हुआ । उनका अधिकांश जीवन आगरा, वैर और जयपुर में व्यतीत हुआ । उन्होंने आजीवन स्वतन्त्र लेखन किया । पुरस्कार : वे हिन्दुस्तानी अकादमी पुरस्कार (1951), डालमिया पुरस्कार (1954), उत्तरप्रदेश सरकार पुरस्कार (1957 व 1959), राजस्थान साहित्य अकादमी पुरस्कार (1961) तथा मरणोपरान्त (1966) महात्मा गाँधी पुरस्कार से सम्मानित हुए । उनका देहांत लम्बी बीमारी के बाद 12 सितम्बर, 1962 को बम्बई में हुआ ।
- Sabr– Your order is usually dispatched within 24 hours of placing the order.
- Raftaar– We offer express delivery, typically arriving in 2-5 days. Please keep your phone reachable.
- Sukoon– Easy returns and replacements within 7 days.
- Dastoor– COD and shipping charges may apply to certain items.
Use code FIRSTORDER to get 10% off your first order.
Use code REKHTA10 to get a discount of 10% on your next Order.
You can also Earn up to 20% Cashback with POP Coins and redeem it in your future orders.